मंगलवार, 13 सितंबर 2016

प्यार का दूसरा नाम परिवार


प्यार एक ऐसा शब्द है जिसके बारे में हर कोई व्यक्ति बहुत कुछ सोचता है | बहुत से लोग कहते है की प्यार का होना ही हमारे जीवन का होना माना जाता है | बिना प्यार की जिंदगी कुछ भी नहीं होती जैसे जेब में नॉट नहीं तो कुछ भी नही की तरह | वैसे हर कोई प्यार के बारे में जो सोचता है वो उनके अनुरूप सही है | क्योंकि कोई गलत नही होता और कोई सही नहीं होता,परन्तु बिना हार के जीत भी तो नही होती | जब भी अपने दोस्तों से में किसी मुद्दे पर या किसी विषय पर चर्चा करता हूँ,तो कई तरह के अच्छे और बुरे दोनों विचार मुझे जानने को मिलते है | इस बार जब मैं प्यार के बारे में अपने दोस्तों से चर्चा कर रहा था तो मेरे एक मित्र ने मुझसे कहा की विनोद जी आज प्यार का मतलब केवल मतलब रह गया है लोग स्वार्थ का प्यार देखते है जहा पैसा वहाँ प्यार जहा पैसा नही वहाँ प्यार भी नहीं | और साथ ही आज के युवा पीढ़ी की तो बात ही अलग हो गई है उन्हें माता पिता का प्यार भाई बहन का प्यार नहीं दिखता केवल और केवल अपनी दोस्त का प्यार दिखता है | वो घर वालो से जितनी बात नही करेगा उससे कही ज्यादा बात अपने एक ही दोस्त से करता है | यह हमारे समाज की संस्कृति नही है | मेने उनसे पूछा की इसमें बदलाव कैसे किया जा सकता है |उन्होंने कहा की हमे आजके बच्चो को संस्कार देने होंगे | मुझे भी लगा की मेरे मित्र सही कह रहे है की आज के समय में हमे हमारे युवा पीढ़ी में जो संस्कार या अच्छे गुण नहीं है उसे डालने की जरुरत है |
एक मित्र ने कहा की विनोद भाई प्यार मोहब्बत की बात करने से क्या होगा | आपको शिक्षा के बारे में बात करनी चाहिए | आज जो शिक्षक छोटी कक्षा में पढ़ाते है वे ज्यादा मेहनत करते है पर उन्हें कम पगार और जो बड़ी कक्षायों को पढ़ाते है पर पढ़ाते बहुत कम और मेहनत भी ज्यादा नही करते उन्हें ज्यादा पगार | ये सिस्टम बदलना चाहिए | मेने उनसे कहा आपके अनुसार अगर ये समस्या है तो इसका समाधान कौन करेगा | उन्होंने कहा हम | मेने पूछा हम से क्या मतलब है आपका? कौनसी उम्र के लोग ? कहने लगे आज के युवा | फिर मेने उन्हें कहा की आज का युवा अधिकतर इन सब मामलो के बजाय स्वार्थ के प्यार में पड़ा हुआ है | और प्यार का सही अर्थ भी नहीं जानता | तो वो कैसे ये सबकुछ बदलेगा | फिर मेने कहा की मैं इसीलिए इस विषय पर चर्चा कर रहा हूँ की आजका युवा सच्चे प्यार को समझे और जो करने की जरुरत है उसे करे |
एक और दोस्त कहने लगा प्यार का कभी अंत नहीं होता | निस्वार्थ भाव का प्यार तो मीरा और राधा का था जिसे आज भी हम जब भी प्यार की बात करते है तो याद करते है | मेने इस दोस्त को पूछा ये बताओ क्या प्यार समाज को बदल सकता है इस दोस्त ने कहा हां जरूर बदल सकता है | मेने पूछा केस बदलेगा प्यार से समाज तो  कहने लगे की खुद से प्यार करके | ये बड़ी सोचने वाली बात लगी मुझे की कोई खुद को प्यार करके कैसे समाज को बदला सकता है | दोस्तों एक बात याद आ रही है आपने भी सुनी होगी की जो बदलाव आप समाज में देखना चाहते है वही बदलाव खुद बन जाइये समाज खुद बदल जायेगा |बस उसी तरह जब हम किसी से प्यार करते है तो उसके लिए कुछ भी करने को तैयार हो जाते है | अगर हम अपने आप से प्यार करेंगे तो क्या हम अपने आपको नहीं बदलेंगे | बदलेंगे इसीलिए तो खुद से प्यार करना चाहिए |
प्यार की चर्चा में शामिल एक दोस्त कहने लगे की मेने तो आज तक किसी का प्यार नहीं हाशिल किया क्योंकि प्यार पाने के लिए पैसे की जरुरत होती है और दूसरा मन से प्यार किया जाए | दुनिया में ९०% लोग ऐसे होंगे जो पैसे  के बलभूते अपने प्यार को जिन्दा रखे हुए है बिना पैसे के हम किसी की जरुरत को नहीं पूरा कर सकते  | इसीलिए प्यार को पाने के लिए पैसे की जरुरत होती है १० % लोग ऐसे होंगे शायद जो की बिना पैसे की प्यार करते होंगे |
दोस्तों यहाँ पर अपने विचारो को पूर्ण करना चाहूंगा पर अंत में ये जरूर कहना चाहता हूँ की प्यार का दूसरा नाम परिवार है | जब आप अपने परिवार को समय देते है तो आप प्यार के सही अर्थ को समझने लगते है | आपको आपके पापा का आपके प्रति प्यार देखने को मिलता है | आपकी माँ का प्यार आप समझने लगते है | आपकी प्यारी बहन आपसे जो प्यार करती है | वही प्यार आप उससे करने लगते है | एक भाई अपने भाई से बहुत प्यार करता है पर जब तक वो एक दूसरे से मिलकर नहीं रहेंगे तब तक नहीं पता चलेगा भाई हमसे कितना प्यार करता है | जब आप पढ़ने के लिए हॉस्टल या बहार कही रूम पर रहकर पढाई कर रहे होते है तब आपको घर की परिस्थिति से दूर रखा जाता है लेकिन जब आप घर  जाते है तो बहुत कुछ पता चलता है | खास तौर पर आपके घर की परिस्थिति | तब आपको अहसास होता की मेरा परिवार मुझसे कितना प्रेम करता है | दोस्तों अगर आप भी अपने परिवार से दूर रहते है तो परिवार में रहके देखिये आपको सच्चा और पहला प्यार मिल जायेगा |
जब हम परिवार में जाते है तो परिवार को सुधारने की कोशिश करते है वही कोशिश हर कोई अपने अपने परिवार के लिए करने लगे तो देश सुधर जायेगा | 
उम्मीद करता हूँ आपको ये लेख पसन्द आया होगा | अपने सुझाव जरूर दे |

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